मां दुर्गा की साधना

नमस्कार दोस्तों मैं दीपक शर्मा स्वागत करता हूँ

                    Bhakti Story 2

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                       आज का टॉपिक माँ दुर्गा की साधना

मां दुर्गा की साधना आप नवरात्रों में कर सकते हैं या किसी शुभ दिन से शुरुआत कर सकते हैं माता की साधना करने से मन शांत होता है और हमारे जीवन में बदलाव भी आते हैं माता की साधना 18 साल से ऊपर का कोई भी व्यक्ति कर सकता है। । अगर आप माता का मंत्र सिद्ध कर लेते हैं तो आप को कोई और मंत्र सिद्ध करने की आवश्यकता नहीं होती है 

माता का मंत्र का ॐ एम रीम क्लिम चामुंडाय विजय

माँ दुर्गा की साधना की सामग्री

मां दुर्गा की साधना के लिए आसन लाल की आवश्यकता है आपके जो कपड़े हैं वह लाल होने चाहिए साधना पूरब दिशा की ओर मुंह करके करना है माला आपको रुद्राक्ष की लेनी है साधना के लिए माता की फोटो या मूर्ति छोटी मूर्ति होनी चाहिए माता की साधना के लिए। के लिए। के। के लिए आप चाहे 11 दिन निर्धारित करें या 21 दिन जितने भी दिन आप चाहे कितने दिनों में आपको पचास लाख मंत्र का जाप खत्म करना है अगर आप माता की साधना सच्चे दिल से करेंगे तो आपको माता जरूर दर्शन देंगी जो लोग माता की साधना शक्ति के साथ करते हैं। हैं करते हैं। के। या वरदान के लिए करते हैं उन्हें माता-पिता दर्शन नहीं देते क्योंकि उनके दिमाग में लालच भरा होता है इसलिए आप अपना मन साफ ​​रखें और सच्चे दिल से माता की साधना करें अगर आप की साधना सच्ची है तो माता आपको पचास लाख मंत्र के साथ जाप केवल दर्शन हैं।दे सकते हैं जरूरी नहीं कि आप पचास लाख मंत्र से ज्यादा ही करें अगर आप सच्चे मन से माता की साधना करेंगे कि और आप को बोलना है की माता मुझे आप के दर्शन करने हैं। 

                     माता की साधना

माता की साधना के लिए आपको एक अनंत की आवश्यकता है जैसे आप मंदिर में कर सकते हैं या घर में जो एकांत कमरे हो उसको आप साफ सुथरा करके साधना बंद करें माता की साधना के लिए पीले या सफेद वस्त्र का इस्तेमाल करें जैसे कुर्ता पायजामा या धोती। माता पिता की साधना का समय रात को 10 बजे से सुबह 5 बजे तक होता है साधना शुरू करने से पहले आप को स्वच्छ पानी से Nahana है और एक कलश में साफ पानी भरा उसमें नारियल आम के पत्ते सदना के लिए लाल रंग का आसन का इस्तेमाल करते हैं। एक छोटी सा तख्त की आवश्यकता होती है और उस पर।लाल कपड़ा बिछाया और उस पर माता की मूर्ति या फोटो माता की साधना के लिए पश्चिम की ओर बैठना है और पूर्व दिशा की ओर मुंह करना है और एक दीया लेना है लाल कलर का उस पर देसी घी की जोत चलानी है कि माता-पिता है। फोटो या मूर्ति की तरफ रखना है जैसे मंदिर में रख रहे हैं और फूल भी रख रहे हैं और माता को माला भी पेहननी है फिर फल और मिठाई भी उनके पास रखें और फिर माता को हाथ जोड़कर माता से।  बहुत दिन की साधना कर रहा हूँ मुझे आशीर्वाद दे कि मैं अपनी साधना में सफल हूँ फिर हेकेके बाद आपको मंत्र जाप शुरू करना है जितने आप चाहे साधना रात11:00 बजे से सुबह 5:00 बजे तक का ही है फिर से आप माता का मंत्र एम रीम क्लिम चामुंडाय विजय मंत्र का जाप करें जाप के बाद माता को फल और मिठाई का भोग पाते और माता से प्रार्थना करें मेरी साधना सफल हो ऐसी रोज करना है जब साधना खत्म हो जो आपको साधना का अंतिम दिन आए तब साधना करने के बाद हवन करें हवन माता-पिता का । मंत्र  एम रीम क्लिम चामुंडाय विजय एम स्वाहा लगाना है हवन खत्म होने पर हवन का सारा सामान लेकर पानी में विसर्जित करना है इसी के साथ मां दुर्गा की साधना समाप्त होती है 5.00 बजे तक का ही है फिर आप के माता को फल और मिठाई का भोग लगाएं और माता से प्रार्थना करें मेरी साधना सफल हो ऐसे रोज करें जब साधना खत्म हो जाए जो आपको साधना का अंतिम दिन आए तब साधना करने के बाद हवन करें हवन में माता का मंत्र ॐ एम रीम क्लिम चामुंडाय विजय स्वाहा लगाना है हवन खत्म होने पर हवन का सारा सामान लेकर पानी में विसर्जित करना है इसी के साथ मां दुर्गा की साधना समाप्त होती है। जय मां दुर्गा ।


                     धन्यवाद    

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